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रानीगंज के गैर सरकारी अस्पताल में महिला की मौत पर हंगामा, 10 लाख रुपए मुआवजे पर बनी सहमति 

रानीगंज :- रानीगंज शहर के एनएसबी रोड स्थित त्रिबीना हेल्थ केयर में गुरुवार की रात एक महिला मरीज की मौत को लेकर उत्तेजना की स्थिति उत्पन्न हो गयी। इस घटना के बाद परिजन आक्रोशित हो गए और अस्पताल के अंदर ओपीडी सेक्शन का दरवाजा तोड़ दिया। इतना ही नहीं परिजनों की डॉक्टरों के साथ काफी देर तक नोकझोंक हुई। घटना की सूचना पाकर पुलिस मौके पर पहुंची और देर रात स्थिति को नियंत्रित किया गया। सूत्रों का कहना है कि मृतका के परिजनों ने मुआवजे की मांग की। बाद में संबंधित पक्षों को लेकर बैठक हुई। जहां लगभग 10 लाख रुपए मुआवजा देने पर सहमति बनने की खबर है। अंतिम खबर मिलने तक इस घटना को लेकर किसी भी पक्ष ने पुलिस के पास लिखित शिकायत नहीं दर्ज कराई है।

 

घटना के संबंध में बताया जाता है कि रानीगंज के चूड़ीपट्टी इलाके की रहने वाली 35 वर्षीय लक्ष्मी हाड़ी को जटिल बीमारी को लेकर गत बुधवार को उक्त अस्पताल में भर्ती कराया गया था। गुरुवार की दोपहर ऑपरेशन थिएटर में जाने के बाद स्पाइनल एनेस्थीसिया प्रक्रिया के दौरान महिला बेहोश हो गई। इसकी जानकारी महिला के परिजनों को हुई तो वे वहां पहुंचे। बाद में डॉक्टरों ने मरीज को मृत घोषित कर दिया। मरीज की मौत की खबर मिलते ही परिजन आक्रोशित हो गए और उन्होंने विरोध जताना शुरू कर दिया।

 

इस घटना के बाद मरीज के परिजन और उनके करीबी अस्पताल के सामने जमा हो गए और विरोध प्रदर्शन किया। मृतक के परिजन अजय हाड़ी ने डॉक्टर की लापरवाही से मरीज की मौत होने का आरोप लगाते हुए कहा कि मृत महिला के चार बच्चे हैं और अभी तक किसी की भी शादी नहीं हुई है। महिला अपने पति के साथ कामकाज कर परिवार चलती थी। अब उसकी मौत से बच्चों का भविष्य क्या होगा।

 

हालांकि डॉ पीके बजाज ने लापरवाही के आरोपों से इनकार करते हुए कहा कि मरीज को ऑपरेशन के लिए ले जाया गया था और जैसे ही उन्हें बेहोश करने की प्रक्रिया शुरू हुई उनका प्रेशर फॉल कर गया। आमतौर पर दवा देने से ऐसे समय में मरीज की स्थिति में सुधार हो जाता है। लेकिन लगभग 2 घंटे तक अथक प्रयास करने के बाद भी महिला की हालत में सुधार नहीं हुआ।

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